आयुर्वेद के अनुसार गोमूत्र शरीर के अंदर की सफाई करने में बहुत कारगर है और सबसे उत्तम है। गोमूत्र अर्क का उपयोग लोकदवा या फोक मेडिसिन के रूप में सदियों से भारत के विभिन्न क्षेत्रों में उपयोग किया जाता रहा है।
चूँकि गोमूत्र अर्क का स्वाद बहुत तीखा होता है, तो लोग इसको टेबलेट के रूप में लेते हैं जो की बहुत ही आसान है।
गोमूत्र टेबलेट के अद्भुत फायदे
गोमूत्र टेबलेट को घनवटी और गोमूत्र टेबलेट के नाम से भी आयुर्वेद में जाना जाता है। यह शरीर के बचने में बहुत सहायक है और किसी भी इन्फेक्शन और खतरनाक वायरस का भी मुकाबला कर सकता है।
- गोमूत्र टेबलेट से त्रिदोष को संतुलित करता है और खून को शुद्ध रखता है, इसके अलावा हॉर्मोन्स में लाभ देता है, इसलिए यह आपको हमेशा एक्टिव और चुस्त रखता है।
- इम्युनिटी: गोमूत्र में बहुत से खनिज या मिनरल्स होते हैं, जो मानव शरीर के लिए अत्यंत आवश्यक हैं। यह पाचन तंत्र के लिए भी बहुत गुणकारी है। इम्युनिटी को बढ़ाने के साथ-साथ किसी भी क्रोनिक बीमारी से दूर रखता है।
- आर्थोरिड / जोड़ों के दर्द के लिए : हड्डियों को यदि प्रचुर मात्रा में कैल्शियम मिलता रहे तो आपके हड्डियां हमेशा स्वस्थ रहेंगीं। यह आपके शरीर के कोलेस्ट्रॉल को हमेश नीचे रखता है जिससे शरीर का अतिरिक्त फैट जमा नहीं हो पता।
- श्वसन तंत्र को भी दुरुस्त रखता है, शरीर के अतिरिक्त म्यूकस को पानी के रूप में निकल देता है। तो जिनको अस्थमा, एलर्जी होती है उनके लिए यह अत्यंत लाभकारी है। गोमूत्र के उपयोग करने के बाद कुछ रोगियों ने तो इन्हेलर लेना भी छोड़ दिया है।
- ब्लड प्रेशर : यदि आप ब्लड प्रेशर या रक्त चाप से पीड़ित हैं तो गोमूत्र टेबलेट का सेवन करने के बाद आपका बी पी नार्मल हो सकता है। इसके साथ ये कोलेस्ट्रॉल लेवल भी संतुलित रखता है।
- ह्रदय : कार्डियोवैस्कुलर हेल्थ के लिए यानी आपके दिल के लिए भी यह फायदेमंद है। जो दिल के मरीज़ हैं उनके लिए और जो स्वस्थ हैं और दिल के किसी रोग से बचना चाहते हैं तो वे गोमूत्र टेबलेट का सेवन कर सकते हैं।
- डायबिटीज : शरीर में कोलेजन सिंथेसिस को बढ़ाकर यह एक्स्ट्रा शुगर को निकल देता है, और साथ ही यदि किसी डायबिटीज के मरीज़ को कोई घाव हो गया है तो उसके टिश्यू बनाने में यह बहुत सहायक है।
- पेट के समस्याएं : खाना पचने के लिए पेट में बनने वाले रस को बढ़ाने में मदद करता है, और शरीर के इम्युनिटी और पाचन शक्ति को बढ़ाता है। पेट में होने वाली हलचल, दर्द, अपच आदि को दूर रखता है। शरीर के अंदर के घावों को ठीक करता है और कैंसर की रोकथाम में लाभकारी है।
- लिवर : लिवर को डेटोक्सिफाई करता है और लिवर सिरोसिस में मदद करने के साथ-साथ लिवर को हर खतरे से बचता है।
- किडनी : गोमूत्र टेबलेट के लगातार उपयोग से किडनी में क्रिएटिनिन लेवल को संतुलित रखता है।
- थाइराइड के समस्या : इसके उपयोग से शरीर में मेटाबोलिक फंक्शन, हॉर्मोन्स का संतुलन, एनर्जी लेवल और नर्व सिस्टम डिसेबिलिटी आदि को ठीक करता है। इसके अलावा शरीर में ट्यूमर बनने से रोकना, एंटीऑक्सीडेंट, एनाल्जेसिक और एंटी बैक्टीरियल आदि गुणों में लाभ देता है।
गोमूत्र में क्या-क्या है ?
- आयरन, कॉपर
- नाइट्रोजन, सल्फर, मैंगनीज
- कार्बोलिक एसिड, सिलिकॉन, क्लोरीन, मैग्नीशियम
- मेलकी, टाइट्रिक, साइट्रस, सुसरीनिक साइट्रेट
- कैल्शियम साल्ट, केमिकल्स
- मिनरल साल्ट
- विटामिन A , B , C , D , E
- क्रिएटिनिन, हॉर्मोस, यूरिक एसिड
आयुर्वेद में यह कहा जाता है की गोमूत्र के साथ पंचगव्य प्रोडक्ट बिलकुल अमृत के सामान हैं, जो दिल के लिए, दिमाग के लिए और शारीरिक ताकत के लिए अमूल्य है। शरीर के समस्त विकारो को निकलता है और आपको चुस्त, तंदरुस्त रखता है।
Leave a reply